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One Nation One Election: मोदी कैबिनेट में ”एक देश एक चुनाव” प्रस्ताव को मिली मंजूरी, जानिए इसके फायदे

One Nation One Election: भारत में ”एक देश एक चुनाव(One Nation One Election)” प्रस्ताव को लेकर चल रहे विवाद के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी(PM Modi) की अगुवाई वाली कैबिनेट बैठक में इसकी मंजूरी मिल गई है. जी हां आज बुधवार 18 सितंबर को मोदी कैबिनेट(Modi Cabinet) ने बैठक के दौरान ‘एक देश एक चुनाव’ के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी गयी है.

दरअसल आज दोपहर 3 बजे मोदी कैबिनेट मीटिंग हुई जिसमे साफ हो गया है कि अब देश में ‘एक देश एक चुनाव’ लागू किया जाएगा. बता दें, पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद(Ramnath Kovind) की अध्यक्षता वाली समिति ने ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ को लेकर 62 राजनीतिक पार्टियों से संपर्क किया था. जिसमे 47 पार्टियों ने इसका जवाब दिया. जवाब में 32 पार्टियों ने इस प्रस्ताव का समर्थन किया. तो वहीं 15 राजनीतिक दलों ने इस प्रस्ताव का विरोध किया.

पहले फेज में लोकसभा और विधानसभा के होंगे चुनाव

”एक देश एक चुनाव” के बारें में विस्तारपूर्वक प्रेस कॉन्फ्रेंस के जरिए केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि, पहले फेज में लोकसभा और विधानसभा के चुनाव होंगे और इसके 100 दिन बाद स्थानीय निकायों के चुनाव कराए जाएंगे. उन्होंने यह भी बताया कि कमेटी के सुझावों पर देश भर में चर्चा होगी. सभी से आह्वान है कि इस पर अपनी राय जरूर दें. इस व्यवस्था से लोकतंत्र को मजबूती मिलेगी, खर्च भी बचेंगे.

आपको बता दें, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तीसरे कार्यकाल के 100 दिन पूरे होने के मौके पर मीडिया से बात करते हुए अमित शाह ने पहले ही हिंट दे दिया था कि ‘एक देश एक चुनाव’ को जल्द ही लागू कर सकते है. उन्होंने सवांदाता सम्मेलन में कहा कि, हमारी योजना इस सरकार के कार्यकाल के दौरान ही ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ की व्यवस्था लागू करने की है.

”एक देश एक चुनाव” के फायदें

”एक देश एक चुनाव” के बहुत फायदे है. चुनाव के दौरान करोड़ो का खर्च होता है, जो कि बार बार चुनाव होने के कारण बहुत ज्यादा पैसे खर्च होते है. सिर्फ एक बार अब चुनाव होंगे तो खर्च भी एक बार और कम होगा. बार बार चुनाव के कारण सभी सुरक्षा बल चुनावी कारणों में ब्यस्त रहते हैं. अब वह भी अपना कार्य कर सकते है. चुनाव के दौरान अचार संहिता लगाया जाता है. अब बार बार अचार सहिंता की जरूरत नहीं पड़ेगी.

इस प्रस्ताव के कारण काले धन का लगाम लगेगी. अब कोई भी राजनीतिक दल काले धन का इस्तेमाल नहीं कर पाएगे. एक बार चुनाव होगा और पूरी सुरक्षा के साथ होगा.

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